बुलंदशहर : में नरौरा क्षेत्र के तीर्थ स्थल राजघाट स्थित जैसवाल धर्मशाला में अखिल भारतीय जैसवाल वैश्य महासभा द्वारा प्रथम वार्षिक महोत्सव का आयोजन किया गया। इस अवसर पर विभिन्न जनपदों से आए जैसवाल बंधुओं ने एक कार्यक्रम में भाग लिया, जिसमें महाराज श्री जैसलदेव की मूर्ति स्थापना की गई।विद्वान पंडितों द्वारा मंत्रोच्चारण के साथ हवन-पूजन और पूजा-अर्चना की गई। डिबाई विधायक चंद्रपाल सिंह ने जैसलदेव महाराज की प्रतिमा का अनावरण किया। अखिल भारतीय जैसवाल वैश्य बंधु महासभा के सदस्यों और पदाधिकारियों ने पुष्पमाला पहनाकर उनका स्वागत किया और स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया।अखिल भारतीय जैसवाल वैश्य बंधु महासभा के अध्यक्ष ऋषि कुमार ने बताया कि जैसल भाटी वंश के एक राजपूत सरदार थे, जो 12वीं शताब्दी में हुए थे। जैसल ने 1143 में अपने भतीजे, लोध्रुव के रावल भोजदेव को युद्ध में हराकर सत्ता हासिल की थी। उन्होंने 1156 में जैसलमेर शहर की स्थापना की और जैसलमेर राज्य के रावल बने।महामंत्री ओमेश जैसवाल ने बताया कि रावल जैसल या महारावल जैसल सिंह (शासनकाल 1153-1168 ई.) जैसलमेर के भाटी राजपूत शासक थे, जिन्होंने 12वीं शताब्दी के दौरान जैसलमेर की स्थापना की और शासन किया। वे रावल देवराज भाटी के वंश में छठे थे और देवराज (देवरावल) के रावल दुसाज के सबसे बड़े पुत्र थे, जिनकी राजधानी लौद्रवा थी।कार्यक्रम के समापन पर राधा-कृष्ण की झांकी और नृत्य कलाकारों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए गए। फूलों की झांकी के नृत्य ने दर्शकों का मन मोह लिया और राधा-कृष्ण के जयकारों से वातावरण भक्तिमय हो गया।कार्यक्रम का संचालन महामंत्री ओमेश गुप्ता ने किया। इस दौरान उपाध्यक्ष विजय गुप्ता, उमेश चंद गुप्ता (दिल्ली), ओमेश कुमार गुप्ता, योगेश कुमार गुप्ता, राम अवतार अग्रवाल, उमेश गुप्ता, संजय गुप्ता, प्रवेश कुमार गुप्ता, हरीश गुप्ता, पुष्पेंद्र गुप्ता, नारायण गुप्ता, शिवकुमार गुप्ता, अशोक कुमार, डॉ. मुदित कुमार गुप्ता, नरेश कुमार गुप्ता, गिरीश गुप्ता सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।
राजघाट जैसवाल धर्मशाला में जैसलदेव मूर्ति का अनावरण, अखिल भारतीय जैसवाल वैश्य बंधु महासभा ने मनाया प्रथम वार्षिक महोत्सव
