बुलंदशहर : मे राजवीर सिंह सेवानिवृत्त पटवारी एवं पूर्व जिला संगठन मंत्री अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद एवं प्रदेश उपाध्यक्ष संत श्री गुरु रविदास विश्व महापीठ द्वारा अवगत कराया की दिनांक 15 सितंबर 2024 को हाथरस लक्खी मेला श्री दाऊजी महाराज के 113 वे महोत्सव के शुभ अवसर पर मेला प्रांगण में स्थित रिसीवर कैंप मे डॉक्टर भीमराव अंबेडकर विचार गोष्ठी का उद्घाटन समारोह में उपस्थित रहने का सौभाग्य प्राप्त हुआ जिसका उद्घाटन राज्यसभा सांसद एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री रामजीलाल सुमन के द्वारा किया गया विचार गोष्ठी के मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री श्री अनिल कुमार जी थे विचार गोष्ठी में सादाबाद के विधायक प्रदीप चौधरी उर्फ गुड्डू चौधरीएवं हाथरस के जनप्रिय एवं यशस्वी पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष आशीष शर्मा लल्लन बाबू एडवोकेट तथा समाजवादी पार्टी के प्रदेश सचिवश्री बृजमोहन राही एडवोकेट एवं के सी निराला जी दिनेश देशमुख राज कपूर जीभी मौजूद थे रालोद हाथरस के जिला अध्यक्ष श्याम सिंह जी उपस्थित रहे विचार गोष्ठी के संयोजक दीपू कुमार गौतम जी सहसंयोजक प्रशांत शैली जी विजय शीतल जी तथा महिला समाजसेविका श्रीमती सुषमा सिंह जी एकता सिंह जी आदि अनेक लोग उपस्थित थे राजवीर सिंह के द्वारा बताया गया कि कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रमुख समाजसेवी भगवान सिंह भारती जी के द्वारा की गई कार्यक्रम का सफल संचालन गुरु रविदास विश्व महापीठ हाथरस के जिला अध्यक्ष एवं युवा तेज तर्रार क्रांतिकारी उभरते हुए नेता आदरणीय छोटे भाई श्री बंटी भैया द्वारा किया गया विचार गोष्ठी आयोजकों द्वारा मेरा भी पटका पहनाकर स्वागत किया गया तथा कार्यक्रम संचालक द्वारा मुझे भी बाबासाहेब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के बारे में विस्तार से विचार एवं सभा को डॉ आंबेडकर विचार गोष्ठी में संबोधित करने का शुभ अवसर प्राप्त किया गया राजवीर सिंह के द्वारा अपने भाषण में डॉक्टर बी आर अंबेडकर के जीवन परिचय पर विस्तार से चर्चा की तथा उनके द्वारा दिए गए तीन मूल मंत्र एवं संविधान के बारे में लोगों को विस्तार से समझाया उनके तीन मूल मंत्र शिक्षित बनो संगठित रहो संघर्ष करो का विस्तार से वर्णन करते हुए शिक्षा पर जोर देते हुए कहा कि शिक्षा व शेरनी का दूध है जो जितना पिएगा उतना ही डरेगा और ज्ञान खर्च करने से कभी कम नहीं होता हमेशा बढता है बाकी सबी धन खर्च करने से घटते हैं लेकिन विद्या धन एक ऐसा धन है जिसको जितना खर्च करोगे उतना ही बढ़ेगा तथा द्वितीय मूल मंत्र संस्कृत रहने के बारे में राजवीर सिंह के द्वारा अंगूर झाड़ू तथा मधुमक्खियां के उदाहरण प्रस्तुत कर समाज को संगठित रहने पर विशेष जोर दिया गया पिता संघ संघर्ष वाले मूल मंत्र पर विस्तार से बताते हुए राजवीर सिंह के द्वारा अवगत कराया की आपस में वाद विवाद नहीं करना है आपस में झगड़ा फसाद नहीं करना बल्कि अगर लड़ना पड़े तो विधानसभा लोकसभा या जिला पंचायत के लिए लड़ कर अपने समाज का प्रतिनिधित्व करना तथा सभा को संबोधित करते हुए राजवीर सिंह के द्वारा बाबा साहब की जय घोषणारों के साथ अपनी वाणी को विराम दिया गया तथा हाथरस वीडियो से अपील करते हुए सबका आशीर्वाद लिया और सबका धन्यवाद ज्ञापित किया और इस आशा के साथ कि आप भविष्य में मुझे अपना स्नेह एवं प्यार हमेशा ऐसे ही देते रहेंगे श्री सिंह के द्वारा बताया गया कि मेरे द्वारालगभग 15 साल लेखपाल पद पर कार्य करते हुए समस्त हाथरस का भरपूर आशीर्वाद मिला था तथा बाबा साहेब के चित्र पर पुष्प अर्पित कर कार्यक्रम के शुभारंभ की बेला में भी आदरणीय मंत्री जी के साथ सहभागिता करने का अवसर प्राप्त हुआ कार्यक्रम संचालन करता एवं विचार गोष्ठी संयोजक आदि एवं हाथरस की समस्त जनता को धैर्य पूर्वक मेरे भाषण को सुनने हेतु सभी का हृदय से आभार एवं धन्यवाद ज्ञापित करता हूं

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